अब बनारस में भीड़ प्रबंधन और पैदल वालों के लिए सुगम व्यवस्था की तैयारी

अब बनारस में भीड़ प्रबंधन और पैदल वालों के लिए सुगम व्यवस्था की तैयारी

वाराणसी (रणभेरी): वाराणसी शहर में बढ़ रही जनसंख्या और यातायात व्यवस्था, जिसमें पैदल चलने वालों के लिए सुगम व्यवस्था बनाने के लिए नगर-निगम ने तकनीक का प्रयोग कर संचालित करने हेतु भीड़ प्रबंधन की दिशा में सफलतापूर्वक कदम आगे बढ़ाया है। कार्यदायी संस्था टोयोटा मोबेलिटी फाउंडेशन ने वाराणसी में भीड़ प्रबंधन के लिए प्रथम चरण में अन्तराष्ट्रीय स्तर की 10 उच्च स्तरीय कम्पनियों का चयन किया है, जिस पर संस्था 3 मिलियन डालर (करीब 26 करोड़ रुपए) खर्च करेगी। मोबिलिटी फाउंडेशन की ओर से विश्व स्तर पर ऐसे तीन शहरों को चुना गया है, जहां पर्यटकों का दबाव सबसे ज्यादा रहता है। इनमें वाराणसी के अलावा इटली का वेनिस और अमेरिका का डेट्रॉयट शहर है।

वाराणसी में रोजाना एक से डेढ़ लाख पर्यटक और श्रद्धालु आते हैं। प्रमुख दिवस और पर्व-त्योहार पर ये संख्या 6 से सात लाख के करीब पहुंच जाती है। काशी गलियों का शहर है, इस लिहाज से भी यहां भीड़ प्रबंधन पर काम करने की जरूरत है। इसे देखते हुए ही यहां भीड़ प्रबंधन पर काम करने के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर की दस कंपनियों का चयन किया गया है। ये कंपनियां यहां रिसर्च कर पैदल चलने वालों के लिए सुगम व्यवस्था बनाएंगी। इस पर संस्थान तीन मिलियन डॉलर खर्च करेगी। भारत के सबसे प्राचीन शहर वाराणसी में रोजाना आने वाले लाखों श्रद्धालुओं व पर्यटकों के साथ-साथ स्थानीय निवासियों, बुजुर्गों, महिलाओं और दिव्यागंजनों की सुविधा के लिए यह भीड़ प्रबंधन तकनीक काफी उपयोगी सिद्ध होगा। मेयर अशोक कुमार तिवारी ने बताया कि काशी में पैदल यातायात प्रबंधन एक चुनौतीपूर्ण कार्य है। ऐसे में भीड़ प्रबंधन की दिशा में होने जा रहे इस काम के सकारात्मक परिणाम होंगे।