Basant Panchami 2022: कल है सरस्वती पूजा, जाने मुहूर्त
(रणभेरी): वसंत पंचमी यानि मां सरस्वती की पूजा का यह पर्व 5 फरवरी कल शनिवार को देशभर में मनाया जाएगा। बसंत पंचमी पर ज्ञान और बुद्धि-विवेक की अधिष्ठात्री देवी मां सरस्वती की पूजा की जाती है। इस वर्ष वसंत पंचमी के दिन प्रातः चतुर्थी तिथि सुबह 6:44 तक पश्चात पंचमी तिथि संपूर्ण भोग करेगी। शनिवार का दिन है, उत्तराभाद्रपद नक्षत्र व सिद्ध नामक योग मिल रहा है। अतः इस बार की वसंत पंचमी सर्वमंगलकारी है। खेतों में खिले सरसों के फूल जहां इसके आने की आहट दे रहे हैं तो दूसरी ओर होलिका दहन को लेकर स्थानों के चयन को लेकर मंथन चल रहा है। प्रहलाद के स्वरूप अरंड की डाल को भी होलिका दहन के स्थान पर स्थापित किया जाएगा।
मान्यता है कि वसंत पंचमी से शीत ऋतु का समापन होता है और गर्मी के मौसम की शुरुआत होती है। सूर्य देव माघ के महीने में अपनी गति को बढ़ा देते हैं और दिन बड़े होने शुरू हो जाते हैं। ब्राह्मण परिवार की ओर से कानपुर रोड के अवस्थी लान में मां सरस्वती की पूजा-अर्चना होगी। परिवार के अध्यक्ष शिवशंकर अवस्थी ने बताया कि सुबह संगीत के बीच मां सरस्वती की वंदना होगी। बंगलाबाजार के चंद्रिका देवी धाम में विशेष पूजन होगा। महानगर रामलीला मैदान में होने वाला सामूहिक यज्ञोपवीत संस्कार नहीं होंगे। निरालानगर के श्रीरामकृष्ण मठ में सरस्वती पूजा पर धार्मिक आयोजन होंगे।
मां सरस्वती की पूजा पांच फरवरी को सुबह 7:10 बजे से दोपहर 12: 40 बजे के बीच करना श्रेयस्कर होगा। दोपहर 12:15 से एक बजे के बीच होलिका स्थापना का मुहूर्त है। राहुकाल सुबह 9:51 बजे से 11:13 बजे तक रहेगा। 15 जनवरी से शादियों का दौर शुरू हो गया है।23 फरवरी से 26 मार्च तक 31 दिन गुरु तारा अस्त हो जाएगा और 14 मार्च से 14 अप्रैल मीन खरमास रहेगा जिसके कारण विवाह नहीं होगें। आचार्य आनंद दुबे ने बताया कि 15 अप्रैल से विवाह मुहूर्त शुरू होंगे और 10 जुलाई तक विवाह रहेंगे।