बीएचयू के महिला महाविद्यालय में इफ्तार पार्टी को लेकर नया बखेड़ा, छात्रों ने फूंका कुलपति का पुतला

बीएचयू के महिला महाविद्यालय में इफ्तार पार्टी को लेकर नया बखेड़ा, छात्रों ने फूंका कुलपति का पुतला

वाराणसी (रणभेरी): काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) में बुधवार को रोजा इफ्तार पार्टी को लेकर परिसर में नया बखेड़ा शुरू हो गया है। महिला महाविद्यालय में बुधवार की शाम रोजा इफ्तार का आयोजन हुआ। इसमें कुलपति प्रो. सुधीर कुमार जैन के साथ महाविद्यालय के रोजेदार शिक्षक, शिक्षिकाओं व छात्राओं ने अपना रोजा खोला। डा. मो. अफजल हुसैन ने रोजा और पाक रमजान महीने की फजीलत बताई। उन्होंने कहा कि रमजान का महीना खुद को शुद्ध बनाने का मौका है।

वही इस बात की सूचना मिलते ही छात्रों ने कुलपति के खिलाफ नारेबाजी की और प्रतीकात्मक पुतला लेकर जुलूस निकाला। फिर कुलपति आवास पर पहुंचकर पुतला भी फूंका।महिला महाविद्यालय में रोजा इफ्तार की पार्टी में कुलपति प्रो. सुधीर कुमार जैन के साथ ही रेक्टर प्रो. वीके शुक्ला सहित अन्य अधिकारी और शिक्षक शामिल हुए। छात्रों ने बताया कि लंबे समय से रोजा इफ्तार जैसा कोई आयोजन विश्वविद्यालय में नहीं हो रहा था। अचानक ऐसा करना उचित नहीं है।  वीसी पर आरोप लगाया है कि वह छात्रों के हितों की बातों को दरकिनार करते हैं। परिसर में इफ्तार पार्टी का आयोजन निंदनीय है।

प्रदर्शन करने वाले छात्र ने कहा की पूर्व वीसी गिरीश चंद त्रिपाठी ने अपने कार्यकाल में नवरात्रि के समय फलाहार की परंपरा शुरू की थी। उस परंपरा को खत्म करके इफ्तार की नई परंपरा शुरू की जा रही है, जो कि अस्वीकार्य है। अगर कुलपति को को इफ्तार करना है तो वह एएमयू या जामिया जा सकते हैं यहां उनकी आवश्यकता नहीं है। छात्रों ने कहा कि काशी हिंदू विश्वविद्यालय में आज तक कभी भी इस तरह से इफ्तार पार्टी का आयोजन नहीं हुआ है। इस बार इस आयोजन के लिए महिला महाविद्यालय को चुना गया ताकि छात्र विरोध करने महिला महाविद्यालय में न जा सकें। यह एक गलत परंपरा डाली जा रही है जिसका छात्र विरोध करेंगे। आगे इस मुद्दे पर आंदोलन तय है। 

बीएचयू के जनसंपर्क अधिकारी  डॉ. राजेश सिंह ने कहा कि महिला महाविद्यालय में रोजा इफ्तार की परंपरा रही है। इसमें कुलपति समेत अन्य अधिकारी शामिल होते हैं। बुधवार को आयोजन किया गया। कोरोना काल में विश्वविद्याल