पतंगबाजी में कहीं कट ना जाए जीवन की डोर

पतंग के चक्कर में आए-दिन हो रहे हादसे, पतंग उड़ाते समय जलकल विभाग की पानी टंकी में गिरने से बालक की मौत
वाराणसी (रणभेरी सं.)। मकर संक्रांति जैसे-जैसे नजदीक आ रही है बच्चों व युवाओं का ज्यादातर समय छत पर गुजरने लगा है। इन दिनों बच्चे-युवा पतंगबाजी का आनंद लेने में व्यस्त हैं। पतंग का शौक रखने वाले मकर सक्रांति का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। पतंगबाजी के लिए आप अपने मुताबिक कोई भी पतंग चुन सकते हैं, लेकिन इसे उड़ाने के लिए आप जिस मांझे (डोर) का प्रयोग कर रहे हैं, उससे सावधान हो जाएं। यह डोर अगर चायना से आया हुआ है तो सावधान, क्योंकि ये चायनीज मांझा न केवल आपको बुरी तरह से घायल कर सकता है, बल्कि संक्रांति पर पतंग की यह सुनहरी डोर, आपसे आपकी या अपनों की जिंदगी की डोर भी छीन सकती है। प्रशासन के तमाम तरह के दावों के बावजूद बाजार में चायना की बनी पतंगे और मांझे की बिक्री हो रही है। मकर संक्रांति के चलते बाजार में पतंग व मांझे की दुकानें सज गई हैं। इन्हें खरीदने के लिए दुकानों पर बच्चों और युवाओं की भीड़ लगने लगी है। गली-मोहल्ले में आवाजें भी सुनाई देने लगी हैं। पतंग कटने पर बेसुध होकर बच्चों को दौड़ते देखा जा सकता है। यह जानलेवा साबित हो सकता है। पतंग उड़ाने के दौरान आप छत से गिर भी सकते हैं और जान तक जा सकती है। पतंगबाजी में सबसे ज्यादा घातक है चायनीज मांझा। यह प्लास्टिक कोटेड होने के साथ ही मानव व पशु-पक्षियों के लिए जानलेवा हो सकता है। यह आसानी से नहीं टूटता। जरा सी रगड़ लग जाए तो त्वचा कट सकती है। अगर उलझ जाए तो जान तक जा सकती है। जब भी पतंग उड़ाएं तो बड़े साथ हों और इसमें बिलकुल भी लापरवाही न बरतें।
संपूर्ण जिले में खपाई जा रही चायना डोर
पशु-पक्षियों और इंसानों के लिए निरंतर खतरनाक सिद्ध हो रही चायना डोर पर पाबंदी लगाने में जिला पुलिस और प्रशासन ने अभी तक कार्रवाई नहीं की है। शहर में चोरी-चुपके बिक्री हो रही है। चायना डोर का मटैरियल ज्यादा खतरनाक होने के कारण राहगीरों व पशु-पक्षियों को इससे नुकसान पहुंचता है।
चाइनीज मंझा से मौत-घायलों के जिम्मेदार दुकानदारों पर होगी एफआईआर : सीपी
वाराणसी पुलिस कमिश्नर ने प्रतिबंधित चाइनीज मांझा और नॉयलॉन मांझा के खिलाफ जिले भर में सघन अभियान के निर्देश दिए है। शहर से लेकर देहात में चाइनीज मांझा के घायलों और मौत के लिए विक्रेताओं को जिम्मेदार बताया। मांझा के साथ पकड़े जाने वालों को इन हादसों का जिम्मेदार मानते हुए एफआईआर दर्ज करने की बात कही है। इसके अलावा थानों पर पेशेवर अपराधियों, माफियाओं और हिस्ट्रीशीटरों के खिलाफ कार्रवाई का निर्देश दिया है। 28 थानों पर राउंड द क्लॉक चेकिंग की बात भी कही। वहीं थानों के मेन गेट पर टॉप-10 अपराधियों की सूची चस्पा करने का निर्देश भी दिया। हालांकि इसे सुनकर थानेदार असमंजस में भी नजर आए, क्योंकि कई अपराधी सत्तादल से जुड़े या करीबी हैं। जेसीपी डॉ0 के. एजिलरसन, एडिशनल सीपी एस. चन्नप्पा उपायुक्त काशी जोन, वरुणा जोन, गोमती जोन रहे।
उधर, पुलिस लाइन सभागार में महाकुंभ के साथ ही आगामी त्योहारों के दौरान यातायात व्यवस्था को लेकर काशी जोन के डीसीपी गौरव बंसवाल ने बैठक की। चीनी मांझे के खिलाफ कारगर कार्रवाई के साथ ही अपराधियों के खिलाफ सख्ती का निर्देश दिया। मीटिंग में काशी जोन के एडीसीपी सरवणन टी, एसीपी चेतगंज गौरव कुमार, एसीपी दशाश्वमेध धनन्जय मिश्रा, एसीपी कोतवाली प्रज्ञा पाठक, एसीपी भेलूपुर डॉ. ईशान सोनी और अन्य एसीपी के साथ ही थानेदार शामिल रहे।पतंग उड़ाते समय जलकल विभाग की पानी टंकी में गिरने से बालक की मौत
वाराणसी (रणभेरी सं.)। पतंग उड़ाने के दौरान एक बालक की पानी टंकी में गिरने से मौत हो गई। सोमवार को हुई घटना से लोगों में आक्रोश है। उनका कहना है कि काफी दिनों से जलकल विभाग की टंकी के खुले हिस्से को ढंकने के लिए कहा जा रहा था लेकिन किसी ने ध्यान नहीं दिया। आदमपुर क्षेत्र के भदऊचुंगी तिराहे के पास स्थित जलकल विभाग की पानी की टंकी से सटकर सफाईकर्मियों की बस्ती है। इसमें ही नगर निगम की संविदा सफाईकर्मी गुडि?ा बच्चों के साथ रहती है। उसके पति कैलाश की मृत्यु कई साल पहले हो चुकी है। दोपहर में गुडि?ा के सात बच्चों में सबसे छोटा बाबू (11 वर्ष) चार अन्य बच्चों के साथ पानी की टंकी के ऊपर चढ़कर पतंग उड़ा रहा था। पतंग कट जाने पर वह मांझे को लपेटते हुए टंकी के किनारे चला गया। इस दौरान पैर फिसलने से टंकी के खुले हिस्से से गहरे पानी में गिर गया। यह देखकर साथ में मौजूद बच्चे शोर मचाते हुए बस्ती में पहुंचे। कुछ लोग सीढ़ी से टंकी के अंदर पहुंचे और बाबू को बाहर निकालकर मंडलीय अस्पताल ले गए जहां चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। स्वजन ने शव का पोस्टमार्टम कराए बिना अंतिम संस्कार कर दिया। सवा लाख लीटर क्षमता की पानी की टंकी से आदमपुरा वार्ड में पानी की सप्लाई होती है। उसके खुले हिस्से को ढंकने के लिए स्थानीय लोगों ने कई बार जलकल के अधिकारियों से कहा लेकिन उन्होंने ध्यान नहीं दिया। वहीं बालक की मौत के बाद आनन-फानन में पटिया रखकर टंकी को ढंक दिया गया।
चाइनीज मांझे के खिलाफ सपा का अभियान जारी
वाराणसी (रणभेरी सं.)। समाजवादी पार्टी ने कातिल चाइनीज मांझा के खिलाफ एक महत्वपूर्ण अभियान शुरू किया है, जिसका मुख्य उद्देश्य इस खतरनाक मांझे की बिक्री पर रोक लगाना है। इस अभियान के तहत, सपा कार्यकतार्ओं ने वाराणसी शहर के पतंग दुकानदारों से अपील की है कि वे चाइनीज मांझा की बिक्री न करें और इसके बजाय सुरक्षित और पर्यावरण अनुकूल विकल्पों का चयन करें। सपा कार्यकतार्ओं ने दालमंडी, औरंगाबाद, पियरी, पीलीकोठी, हनुमान फाटक, विशेश्वरगंज के पतंग दुकानदारों को गुलाब का फूल देकर उन्हें इस खतरनाक मांझा के बारे में जागरूक किया। इसके अलावा, उन्होंने दुकानों पर चाइनीज मांझा नहीं बेचने का संदेश लिखी तख्तियां भी लगाईं। यह अभियान न केवल वाराणसी में बल्कि पूरे देश में चाइनीज मांझे के खिलाफ जागरूकता फैलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। महामृत्युंजय मंदिर के महंत एवं सयुस प्रदेश महासचिव किशन दीक्षित ने कहा कि उनकी पार्टी कातिल चाइनीज मांझा के खिलाफ तब तक आंदोलन चलाएगी जब तक कि यह मांझा पूरी तरह से प्रतिबंधित नहीं हो जाता। उन्होंने कहा कि यह मांझा न केवल पक्षियों के लिए खतरनाक है, बल्कि यह इंसानों के लिए भी जानलेवा साबित हो सकता है। यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है जिस पर तत्काल ध्यान देने की आवश्यकता है।