BHU में अंतरराष्ट्रीय ज्योतिष सम्मेलन शुरू, नेपाल, तिब्बत, ब्रिटेन के पहुंचे 200 विद्वान

BHU में अंतरराष्ट्रीय ज्योतिष सम्मेलन शुरू, नेपाल, तिब्बत, ब्रिटेन के पहुंचे 200 विद्वान

वाराणसी (रणभेरी): आज से काशी हिंदू विश्विद्यालय (बीएचयू) के ज्योतिष विभाग की ओर से दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय ज्योतिष सम्मेलन की शुरुआत हो गई है। भारतीय ज्योतिषाचार्यों के साथ ही नेपाल, तिब्बत, भूटान और ब्रिटेन के भी करीब 200 विद्वान BHU में पहुंचे हैं। आपके जीवन की गति, स्थिति, संगति और नियति क्या होगी, इसके बारे में जानना हो तो काशी हिंदू विश्वविद्यालय (BHU में ) स्थित संस्कृत विद्या धर्मविज्ञान संकाय में आएं। सम्मेलन का विषय है- 'पुरुषार्थ चतुष्टय' यानी कि हिंदू व्यक्ति के जीवन के सबसे बड़े 4 लक्ष्य- धर्म, अर्थ, काम, मोक्ष। BHU में ग्रह-नक्षत्रों की गणना करके इन चार लक्ष्यों को कैसे पाना है वही बताया जा रहा है। विद्वानों ने कहा कि इस सम्मेलन का उद्देश्य यह भी है कि ज्योतिष के आडंबर से बचाते हुए आम जनमानस को सही सलाह दिया जाए।

एक डेटा बैंक के तौर पर उसकी भविष्यवाणी उसके पास सुरक्षित रहे और कोई अज्ञानी तथाकथित ज्योतिषी के बहकावे में न आने पाए।वैवाहिक जीवन को बेहतर करने के साथ ही मोक्ष प्राप्ति तक का रास्ता आसान किया जाएगा। BHU के संस्कृत विद्या धर्म विज्ञान संकाय के सभागार में यह कार्यक्रम दोपहर 12 बजे से शुरू हुआ जो कि अब शाम 5 बजे तक चलेगा।

ज्योतिष विभाग के पूर्व अध्यक्ष और प्रोग्राम संयोजक प्रोफेसर विनय पांडेय ने बताया कि हिंदू धर्म में जन्म लेने वाले बच्चे के जीवन का केवल 4 ही लक्ष्य होता है। धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष। हर एक चीज इन चारों में समाहित है। वह जीवन में इन चारों लक्ष्यों की प्राप्ति कैसे करेगा या उसे कोई कठिनाई आ सकती हैं इन सबकी भविष्यवाणी बच्चे के जन्म लेने के साथ ही बताई जा सकेगी।