ED कार्यालय पहुंचे मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के पीए, शराब घोटाले के मामले में हुई पूछताछ
(रणभेरी): दिल्ली शराब घोटाले मामले में प्रवर्तन निदेशालय के समन के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के पीए ईडी कार्यालय पहुंच गए हैं। ईडी ने एक्साइज घोटाले की चल रही जांच के सिलसिले में उन्हें तलब किया है। इससे पहले सीबीआई ने डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया को इस मामले में समन किया है। ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग ऐक्ट (पीएमएलए) के तहत जांच के बाद जो सप्लीमेंट्री चार्जशीट जांच एजेंसी ने कोर्ट में दायर की है उसमें दावा किया है कि दिल्ली की एक्साइज पॉलिसी 2021-22 को 'आप' शीर्ष नेताओं ने तैयार किया। उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया, सरकार के कई अधिकारियों और शराब कारोबारियों को सीबीआई और ईडी ने आरोपी बनाया है। मामले के आरोपियों में दिल्ली के उपमुख्यमंत्री सिसोदिया, पूर्व आबकारी आयुक्त अरवा गोपी कृष्ण, आबकारी विभाग के पूर्व उपायुक्त आनंद तिवारी और पूर्व सहायक आयुक्त पंकज भटनागर शामिल हैं। सीबीआई और ईडी के अनुसार आबकारी नीति को संशोधित करते समय अनियमितताएं की गईं और लाइसेंस धारकों को अनुचित लाभ दिया गया। वही सीएम अरविंद केजरीवाल ने आबकारी नीति में घोटाले की बात को सरासर झूठ बताया है। उन्होंने कहा कि इस नीति में कोई भी घोटाला नहीं हुआ है और यही नीति पंजाब में भी लागू है जहां 40 फीसद से भी ज्यादा के राजस्व में बढ़ोतरी हुई है। दिल्ली सरकार द्वारा 17 नवंबर 2021 को नई शराब नीति लागू की गई थी। इस नीति के तहत कई नई दुकानों को खोलने की इजाजत दी गई थी और कुल 849 दुकानें खुलनी थी। इस नीति में सभी शराब दुकानों को प्राइवेट कर दिया गया था। भाजपा ने इस नीति के जारी होने के बाद आरोप लगाया है कि इससे जनता और सरकार दोनों को नुकसान हो रहा था। जिसके बाद ईडी और सीबीआई ने अलग-अलग मामले दर्ज किए हैं।