माघी पूर्णिमा पर आस्था के महाकुंभ में श्रद्धालुओं का रेला
प्रयागराज। माघ पूर्णिमा के पावन अवसर पर चल रहे महाकुंभ में बुधवार को त्रिवेणी संगम पर पवित्र स्नान के लिए श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, अब तक 48.83 करोड़ से अधिक श्रद्धालु डुबकी लगा चुके हैं। इस बीच, माघ पूर्णिमा पर अयोध्या की सरयू नदी में भी श्रद्धालुओं ने पवित्र डुबकी लगाई। उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को माघ पूर्णिमा के अवसर पर समस्त श्रद्धालुओं और प्रदेश वासियों को शुभकामनाएं दीं।
प्रयागराज में माघ पूर्णिमा पर श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है। संगम तट के दोनों ओर श्रद्धालु ही श्रद्धालु दिखाई दे रहे हैं। माघ पूर्णिमा पर सुबह-सुबह ही करीब एक करोड़ श्रद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाई है।
माघ पूर्णिमा पर सबसे पहले नागा साधुओं के अखाड़ों ने डुबकी लगाई। इसके बाद अखाड़ों और फिर साधु-संतों ने पवित्र स्नान किया। इस प्रक्रिया के बाद ही श्रद्धालुओं ने स्नान करना शुरू किया। संगम तट पर स्नान कर रहे श्रद्धालुओं पर हेलीकॉप्टर से फूलों की बारिश की जा रही है। महाकुंभ में अब तक 46.25 करोड़ से अधिक श्रद्धालु डुबकी लगा चुके हैं।
त्रिवेणी पर कड़ी चौकसी
त्रिवेणी पर कड़ी चौकसी है। हर तरफ पुलिस अलर्ट कर रही है। पुलिस फोर्स को लगातार चौकस रहने के निर्देश मिल रहे हैं। झूसी से संगम जाने वाले मार्ग की स्थिति सामान्य है। पूरे इंतजाम पर मुख्यमंत्री योगी सुबह से ही नजर बनाए हैं। वॉर रूम में मुख्यमंत्री योगी अधिकारियों के साथ मौजूद हैं। माघ पूर्णिमा स्नान पर प्रयागराज नो व्हीकल जोन है। कल्पवासियों के भी वाहन को अंदर जाने की इजाजत नहीं है। सभी वीवीआईपी पास भी रद्द कर दिए गए हैं।
माघ पूर्णिमा पर करें अन्न और वस्त्र का दान
स्नान और तर्पण के बाद पितरों की प्रसन्नता के लिए अन्न और वस्त्र का दान करना शुभ माना जाता है। विशेष रूप से सफेद वस्त्रों का दान करने से पितरों की कृपा प्राप्त होती है और पितृ दोष से मुक्ति मिलती है।
माघ पूर्णिमा पर क्या करें
माघ पूर्णिमा के दिन गंगाजल में दूध मिलाकर उसे पीपल के पेड़ पर अर्पित करना चाहिए। धार्मिक मान्यता के अनुसार, पीपल के पेड़ में त्रिदेव का निवास होता है। इसलिए, शाम के समय पीपल के नीचे घी का दीपक जलाना भी आवश्यक है। इस उपाय से त्रिदेव की विशेष कृपा प्राप्त होती है।