महाशिवरात्रि पर काशी में उमड़ा श्रद्धालुओं का हुजूम, 25 लाख आएंगे भक्त, VIP और स्पर्श दर्शन रोक

वाराणसी (रणभेरी): 26 फरवरी यानी बुधवार को शिव की नगरी काशी में महाशिवरात्रि का पर्व धूमधाम से मनाया जाएगा। विश्वनाथ मंदिर समेत सभी शिव मंदिर रंग-बिरंगी लाइटों से जगमग हो रहे हैं। इस दौरान बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। काशी में महाशिवरात्रि मनाने के लिए 25 लाख भक्त पहुंचेंगे। वहीं सुरक्षा से लेकर श्रद्धालुओं की विभिन्न सुविधाओं तक का इंतजाम किया गया है। इसे लेकर मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा, पुलिस आयुक्त मोहित अग्रवाल और डीएम एस राजलिंगम निरीक्षण कर निगरानी भी कर रहे हैं। मंगलवार की सुबह से भक्तों की लंबी कतार काशी विश्वनाथ मंदिर में दर्शन के लिए लगी रही।
वहीं शहर के अंदर काशी विश्वनाथ मंदिर से 3 किलोमीटर पहले कार-बाइक रोकी जा रही हैं। मंदिर का रूट नो व्हीकल जोन है। दर्शन के लिए हर श्रद्धालु को कम से 6 किलोमीटर पैदल चलना पड़ेगा। पुलिस ने जगह-जगह बैरिकेडिंग की हैं। जब अखाड़ों के नागा साधु दर्शन करेंगे, तब आम श्रद्धालुओं का पूजन रोका जाएगा।
बीते सोमवार को श्री काशी विश्वनाथ धाम में 6 लाख से ज्यादा श्रद्धालुओं ने दर्शन-पूजन किया। महाशिवरात्रि से दो दिन पहले ही पांच लाख वर्ग मीटर में फैला विश्वनाथ कॉरिडोर शिव धुन में रम गया है। पूरा कॉरिडोर रंग-बिरंगी लाइटों से जगमगा रहा है। सोमवार से प्रोटोकॉल दर्शन बंद है, इसलिए काशी के स्थानीय लोगों को बाबा विश्वनाथ का सुगम दर्शन कराया गया। वहीं 6 देशों के 50 विदेशी श्रद्धालुओं ने भी बाबा विश्वनाथ का दर्शन किया।
प्रोटोकॉल दर्शन व्यवस्था बंद होने से पहले काशीवासियों ने हर्षोल्लास के साथ श्री काशी विश्वनाथ धाम पहुंचकर दर्शन किया। उनके जोरदार जयकारे से मंदिर प्रांगण हर हर महादेव के उद्घोष से गूंज उठा। मंदिर न्यास की ओर से काशीवासियों से महाशिवरात्रि के लिए बनाई गई व्यवस्था में सहयोग की अपील की गई। महाकुंभ के पलट प्रवाह और दशनामी नागा अखाड़ों के नागा संन्यासियों के महाशिवरात्रि पर दर्शन पूजन को देखते हुए काशीवासियों ने व्यवस्था में पूरा सहयोग देने का आश्वासन दिया। कहा कि श्रद्धालुओं की सहूलियत के लिए मंदिर न्यास की व्यवस्था में हमेशा से सहयोग करते रहे हैं और आगे भी करते रहेंगे।