वाराणसी कचहरी में दरोगा और सिपाही से मारपीट, हालात तनावपूर्ण, भारी पुलिस फोर्स तैनात

वाराणसी कचहरी में दरोगा और सिपाही से मारपीट, हालात तनावपूर्ण, भारी पुलिस फोर्स तैनात

वाराणसी (रणभेरी): वाराणसी कचहरी परिसर में मंगलवार को बड़ा बवाल हो गया। बड़ागांव थाने के दरोगा मिथिलेश प्रजापति (35) और एक सिपाही को वकीलों ने जमकर पीट दिया। दरोगा की वर्दी फाड़ दी गई और उन्हें गंभीर चोटें आईं। आनन-फानन में पुलिसकर्मी को ट्रॉमा सेंटर में भर्ती कराया गया, जहां उनकी हालत गंभीर बनी हुई है।

घटना के बाद कचहरी परिसर में अफरा-तफरी मच गई। मौके की नाजुक स्थिति को देखते हुए भारी पुलिस फोर्स तैनात कर दी गई। इस बीच जानकारी मिलते ही डीएम सत्येंद्र कुमार, डीआईजी शिवहरि मीणा, डीसीपी काशी जोन प्रमोद कुमार, एडीसीपी क्राइम सरवणन टी और एडीएम सिटी आलोक वर्मा जिला जज से मिले और हालात की समीक्षा की। वकीलों से कोर्ट खाली करने की अपील भी की गई।

विवाद की जड़ जमीन का झगड़ा

पूरा मामला बड़ागांव थाना क्षेत्र के ग्राम पुआरी खुर्द का है। यहां मोहित कुमार सिंह और प्रेमचंद्र मौर्या नामक दो पट्टीदारों के बीच जमीन पर कब्जे और निर्माण को लेकर विवाद चल रहा है। मोहित पक्ष का कहना है कि आराजी संख्या 125 पर स्थगन आदेश होने के बावजूद निर्माण हो रहा है। जबकि प्रेमचंद्र पक्ष का कहना है कि वे आराजी संख्या 126 पर प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत वैध निर्माण कर रहे हैं और नियमों के मुताबिक चार फीट दूरी भी छोड़ रहे हैं।

दोनों पक्ष पहले भी कई बार भिड़ चुके हैं। इसी विवाद को लेकर 28 जून 2025 को बड़ागांव थाने में दो अलग-अलग मुकदमे दर्ज हुए थे। 13 सितंबर को समाधान दिवस के दौरान भी दोनों पक्ष भिड़ गए थे। पुलिस ने उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन हालात बिगड़ने पर दोनों का चालान शांति भंग की धारा 151 में कर न्यायालय भेजा गया। आरोप है कि इसी दौरान दरोगा ने एक वकील से मारपीट कर दी थी, जिससे वकील घायल हो गया। 

कचहरी में फूटा गुस्सा

मंगलवार को जब दरोगा मिथिलेश प्रजापति और सिपाही गो-अधिनियम से जुड़े रिमांड पर्चा लेने कचहरी पहुंचे, तो वकीलों ने उन्हें घेर लिया। बड़ागांव थाने से जुड़े होने के कारण वकीलों ने उन पर हमला बोल दिया। देखते ही देखते भीड़ ने दरोगा और सिपाही को पीटना शुरू कर दिया। इस दौरान दरोगा की वर्दी फट गई और वे बुरी तरह घायल हो गए। बीच-बचाव करने वालों को भी चोटें आईं।

पुलिस-प्रशासन की सख्ती

घटना की सूचना मिलते ही कचहरी में भारी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया। पुलिस अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर हालात पर काबू पाया। घटना की गंभीरता को देखते हुए डीएम और डीआईजी खुद कचहरी पहुंचे। अधिकारियों ने बताया कि मामले की जांच के लिए कचहरी परिसर और आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है।

अपर पुलिस आयुक्त शिवहरि मीणा ने कहा कि दरोगा और सिपाही पर हमला करने वालों की पहचान की जा रही है। फुटेज और वीडियो रिकॉर्डिंग के आधार पर हमलावरों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी।

माहौल तनावपूर्ण

घटना के बाद कचहरी परिसर में तनाव का माहौल है। हालांकि पुलिस बल की तैनाती से हालात धीरे-धीरे सामान्य हो रहे हैं। घटना के बाद बड़ी संख्या में वकील कचहरी से चले गए। पुलिस ने कहा है कि किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा।