महाकुंभ पलट प्रवाह... और ठहर गई काशी
- मंदिर से लेकर घाटों तक श्रद्धालुओं का उमड़ा हुजूम, लाखों की संख्या में हर रोज काशी पहुंच रहे हैं श्रद्धालु
- महाकुंभ के पलट प्रवाह होने से शहर की सड़कों, गलियों के साथ रेलवे स्टेशनों पर जबरदस्त भीड़
वाराणसी (रणभेरी सं.)। प्रयागराज के महाकुंभ के पलट प्रवाह से मानो काशी थम सी गई है। श्रद्धांलुओं की खचाखच भीड़ का असर विश्वनाथ धाम के इर्द-गिर्द के इलाके की गलियों में जबरदस्त दिख रहा। वहीं गलियां श्रद्धालुओं से अटी पड़ी हुई हैं। मौनी अमावस्या के बाद यह जरूर रहा कि काशी में मेला क्षेत्र यानी गोदौलिया चौराहा से दशाश्वमेध, गिरजाघर, चौक और जंगमबाड़ी मार्ग पर यातायात की स्थिति सामान्य रही। वहीं, लक्सा, गुरुबाग, रामापुरा, बेनिया, लहुराबीर, मैदागिन, कमच्छा और ककरमत्ता सहित कुछेक अन्य इलाकों की सड़क पर राहगीरों को जाम की समस्या और भीड़ का सामना करना पड़ा। प्रयागराज से इन दिनों लाखों की संख्या में श्रद्धालु काशी आ रहे हैं। महाकुंभ के पलट प्रवाह को देखते हुए यूपी-65 नंबर के अलावा अन्य जिलों और प्रदेशों के वाहनों को शहर के बाहर ही पुलिस रोक दे रही है। अपने वाहन खड़ा कर श्रद्धालु आॅटो और ई-रिक्शा से विश्वनाथ धाम जा रहे हैं। यातायात व्यवस्था के लिए किए गए व्यापक इंतजाम के बावजूद लक्सा क्षेत्र में जाम में एक एंबुलेंस फंसी रही। एंबुलेंस में लेटी हुई बलिया की सुनीता देवी के परिजन जाम से जल्द निकल कर अस्पताल पहुंचने के लिए परेशान थे। वहीं, विश्वनाथ धाम क्षेत्र के इर्द-गिर्द के इलाके में अगत्स्यकुंडा, गणेशमहाल, कालिका गली, पांडेयहवेली, केशरी गली सहित अन्य गलियां श्रद्धालुओं से ठसाठस भरी हुई थी। ललिता घाट से त्रिपुरा भैरवी होते हुए मीर घाट तक श्रद्धालुओं के हुजूम के कारण पैर रखने की भी जगह नहीं थी। कैंट स्टेशन और बस अड्डे की ओर जाने वाले मार्ग पर यातायात का अत्यधिक दबाव दिन भर रहा। वहीं, जिले से गुजरे हुए नेशनल और स्टेट हाईवे पर आवागमन की स्थिति सामान्य रही।
जबरन टीका लगाकर पैसा मांगने वालों से श्रद्धालु परेशान: जबरन टीका लगाकर पैसा मांगने वालों से बाबा विश्वनाथ और बाबा कालभैरव का दर्शन-पूजन करने आने वाले श्रद्धालु खासे परेशान होते हैं। बृहस्पतिवार को कालभैरव मंदिर के लिए कतारबद्ध कुछ श्रद्धालुओं से जबरन टीका लगाकर पैसा मांगने वालों की जमकर कहासुनी हुई। श्रद्धालुओं ने ही बीचबचाव कर मामला शांत कराया।
काशी विद्यापीठ ने 5 फरवरी तक की परीक्षाएं स्थगित
महाकुंभ में मौनी अमावस्या को मेरिट स्नान के बाद से लाखों लोग वाराणसी बाबा विश्वनाथ के दर्शन और गंगा स्नान को पहुंच रहे हैं। वाराणसी में आंकड़ों के अनुसार रोजाना 20 लाख लोग रहे हैं। ऐसे में शहर से लेकर ग्रामीण क्षेत्र में सड़कों में जाम है। इस जाम और भारी भीड़ को देखते हुए महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ विश्वविद्यालय ने आज से 5 फरवरी तक सभी परीक्षाएं स्थगित कर दी हैं। विश्वविद्यालय के उप कुलसचिव आनंद कुमार मौर्य बताया- काशी में महाकुंभ के तीर्थयात्री पहुंच रहे हैं। वाराणसी के साथ ही साथ मिजार्पुर, भदोही और चंदौली में सड़कों पर जाम है। ऐसे में शुक्रवार 31 जनवरी से लेकर 5 फरवरी बुधवार तक विश्वविद्यालय की सभी परीक्षाएं रद्द कर दी गई हैं। इसमें विश्वविद्यालय कैंपस के अलावा सम्बद्ध महाविद्यालय भी शामिल हैं। वीसी डॉ. अनिल कुमार त्यागी के अनुसार- विश्वविद्यालय में ग्रामीण परिवेश के बच्चे ज्यादा हैं। इन बच्चों को कई किलोमीटर का सफर करके वाराणसी मेन कैंपस या सम्बद्ध महाविद्यालय पहुंचना होता है। सड़क पर गाड़ियों का जाम और शहर में महाकुंभ का पलट प्रवाह सेंटर तक पहुंचने में दिक्कत का कारण बन रहा है। कई छात्रों की परीक्षाएं छूट गई हैं। ऐसे में यह निर्णय लिया गया है। उपकुलसचिव ने बताया कि इन दिनों में होने वाली सेमेस्टर परीक्षाओं को जल्द ही रिशेड्यूल किया जाएगा और विश्वविद्यालय की वेबसाइट पर सूचना पब्लिश की जाएगी।
भीड़ से बनारस में अफरा-तफरी गंगा आरती रद
महाकुंभ का असर अब काशी में दिखाई दे रहा है। मौनी अमावस्या के शाही स्नान के बाद काशी में श्रद्धालुओं की खासी भीड़ है। भक्तों के भीड़ का दबाब देखते हुए दशाश्वमेध घाट पर होने वाली विश्व प्रसिद्ध गंगा आरती को भी आयोजकों ने 5 फरवरी तक के लिए रद्द कर दिया है। वहीं दूसरी तरफ श्री काशी विश्वनाथ मंदिर प्रशासन ने भी बाबा के भक्तों के लिए एडवाइजरी भी जारी की है। श्री काशी विश्वनाथ मंदिर तीर्थ क्षेत्र के एसडीएम शम्भू कुमार ने बताया कि महाकुंभ से लौटने वाली भीड़ के कारण काशी में भक्तों की खासी भीड़ है। हर दिन 5 से 8 लाख लोग बाबा के दर्शन कर रहे हैं। ऐसे में भीड़ के कारण लोगो को 4 से 5 घंटे तक लाइन में खड़ा होना पड़ रहा है। ऐसे में उन भक्तों से अपील है जो शारीरिक रूप से अस्वस्थ है वो बाबा के दर्शन से परहेज करें और लाइन में लगने के बजाय दूर से ही बाबा को प्रणाम करें।
4000 यात्री क्षमता वाले होल्डिंग एरिया में 5000 से ज्यादा लोग
महाकुंभ के पलट प्रवाह से कैंट और बनारस स्टेशन की व्यवस्थाएं बेपटरी हो गईं। बुधवार की देर रात से बृहस्पतिवार की रात में कैंट स्टेशन के दोनों होल्डिंग एरिया भर गए। चार हजार यात्रियों की क्षमता वाले होल्डिंग एरिया में पांच हजार से अधिक यात्री समा गए। स्टेशन के तीनों यात्री हॉल, प्लेटफॉर्म, यात्री आश्रय, एफओबी और प्रथम व द्वितीय प्रवेश द्वार श्रद्धालुओं से पटे रहे।
पूर्व मेयर ने श्रद्धालुओं को कराया चाय-नाश्ता
काशी में गंगा स्नान और बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए आ रहे श्रद्धालुओं के स्वागत सत्कार में काशीवासी खुले मन से जुट गए हैं। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए नगर में दर्जनों स्थानों पर निशुल्क चाय नाश्ते और भोजन के स्टॉल लगाए गए हैं। रथयात्रा चौराहे पर पूर्व मेयर रामगोपाल मोहले के नेतृत्व में कुसुम मोहले स्मृति सनातन न्यास की ओर से चाय नाश्ते का स्टॉल लगाया गया।
महाकुंभ में स्नान को जाने वाले शहर में मौजूद
कोलकाता, तमिलनाडु, बिहार समेत कई राज्यों से श्रद्धालु काशी पहुंचे हैं। उनकी आगे की यात्रा प्रयागराज और अयोध्या की है। मौनी अमावस्या पर संगम में स्नान से वंचित रह गए लाखों लोग अब बसंत पंचमी पर महाकुम्भ में स्नान की तैयारी में हैं। प्रयागराज को जाने वाले रास्तों पर जाम और ट्रेनें फुल चलने के कारण लाखों लोग शहर में ही मौजूद हैं और हालत सुधरने का इंतजार कर रहे हैं ताकि प्रयागराज रवाना हो सकें।
अयोध्या से भी काशी पलटी भीड़
प्रयागराज जाने वालों के सैलाब के बीच अयोध्या से दर्शन पूजन करके तीर्थयात्रियों का काशी आना शुरू हो चुका है। मौनी अमावस्या पर स्नान के बाद लाखों तीर्थयात्री अयोध्या पहुंचे और वहां दर्शन पूजन के बाद काशी आ गए। देर रात तक ट्रेन, बसों से अयोध्या से यात्रियों के आने का क्रम जारी रहा। अयोध्या से वाराणसी आ रही ट्रेनों को शिवपुर रेलवे स्टेशन पर ही रोक दिया गया ताकि कैंट पर दबाव कम रहे। प्रयागराज के बॉर्डर पर रोके गए, काशी में ही ठहर गए महाकुंभ में भगदड़ के बाद हालत काबू में करने के लिए प्रयागराज के बॉर्डर पर गाड़ियां रोक दी गई थी। घंटों वाहन अपने जगह से नहीं हिले। पांच लाख से अधिक श्रद्धालु रेलवे और बस स्टेशन पर फंसे रह गए। ट्रेनों के लगातार कैंसिल होने के कारण वाराणसी से बाहर निकलना मुश्किल हो गया और मजबूरी में लाखों लोग शहर में अभी फंसे हैं।
ट्रेन-बसों और कारों से पहुंचे 25 लाख श्रद्धालु
वाराणसी में प्रयागराज और बिहार से आने वाले दर्शनार्थियों का सैलाब गुरुवार देर रात पहुंच गया। ट्रेन, बस और निजी वाहनों से लगभग 20 से 25 लाख श्रद्धालु काशी पहुंच गए हैं। स्टेशन से लेकर रोडवेज बस स्टैंड समेत और पार्किंग एरिया भी यात्रियों से भर गया है। शासन की ओर से रेलवे स्टेशन पर बनाया गया नाइट-स्टे कैंप भी हाउसफुल हो गया। आधी रात के बाद हर 15-20 मिनट में ट्रेनों के पहुंचने का सिलसिला जारी रहा तो कई ट्रेनें घंटों देरी से पहुंची। स्टेशन पर प्लेटफार्म खाली नहीं होने के चलते ट्रेनों को घंटों आउटर पर रोका गया। हालांकि हजारों यात्री आउटर पर भी उतरकर शहर की ओर जाते नजर आए। शहर के बाहरी इलाकों में तीर्थयात्रियों को आसपास के स्कूल, धर्मशालाओं में रोका जा रहा है ताकि शहर के अंदर भीड़ का दबाव कम रहे।
कहीं आपस में तो कहीं पुलिस से ही धक्का-मुक्की
विश्वनाथ धाम के लिए कतारबद्ध श्रद्धालु लाइन में आगे बढ़ने के लिए कहीं आपस में तो कहीं पुलिस कर्मियों से ही धक्का-मुक्की कर रहे थे। राजेंद्र प्रसाद घाट पर पुलिस ने श्रद्धालुओं की कतार को व्यवस्थित कराने का प्रयास किया तो वह धक्का-मुक्की करते हुए नोकझोंक करने लगे। चितरंजन पार्क के सामने सड़क पर श्रद्धालुओं के बीच ही जमकर धक्का-मुक्की और नोकझोंक हुई। दशाश्वमेध इलाके में स्टील की तीन बैरिकेडिंग जमीन पर गिर गई थी तो श्रद्धालु उसी के ऊपर से गुजर रहे थे। वहीं, दुकानों के सामने की गई बैरिकेडिंग से दुकानदारों के साथ ही स्थानीय लोगों को भी आवाजाही में दिक्कत हुई।
नई दिल्ली सुपरफास्ट कैंसिल, 20 ट्रेनों से यात्री भेजे गए प्रयागराज
नई दिल्ली सुपरफास्ट 31 जनवरी को कैंसिल कर दी गई है। गोरखपुर झूंसी कुंभ स्पेशल निरस्त कर दी गई है। शिवगंगा देर रात यात्रियों को लेकर दिल्ली रवाना हुई। नई दिल्ली आनंद विहार भी कैंट से यात्रियों को लेकर रवाना हुई। देर रात तक प्रयागराज से 50 स्पेशल मेला ट्रेनें वाराणसी पहुंची। वाराणसी से भी 40 कुंभ स्पेशल ट्रेनें प्रयागराज भेजी गईं जिसमें 20 ट्रेनों को खाली भेजा गया ताकि वहां से यात्रियों को निकाला जा सके। जबकि 20 ट्रेनों से लोगो को प्रयागराज भेजा गया। प्रयागराज में भीड़ को देखते हुए पवन एक्सप्रेस का रूट बदल दिया गया और वो प्रयागराज के बजाय मीरजापुर होते हुए वाराणसी पहुंची।
वाराणसी में तीर्थयात्रियों का जन समुद्र
प्रयागराज से आने और महाकुम्भ में स्नान को जाने वालों का शहर में तांता लगा है। गैर राज्यों, शहरों से आए तीर्थयात्रियों का रेला संगम में स्नान के बाद अयोध्या में दर्शन करके काशी आ रहा है। उधर, वाराणसी होकर प्रयागराज जाने वाले लाखों श्रद्धालु मौजूद हैं। कैंट रेलवे स्टेशन पर यात्रियों का दबाव बढ़ गया। वाराणसी होकर प्रयागराज समेत अन्य शहरों को जाने वाली ट्रेनें ठसाठस भरी थी। किसी भी ट्रेन में 40- 50 से अधिक लोग नहीं चढ़ पा रहे थे। स्टेशन के प्लेटफार्म से लेकर सकुर्लेटिंग एरिया होते हुए पूरे स्टेशन एरिया में 03 लाख से अधिक लोग आ गए। देर शाम तक कैंट स्टेशन पर यात्रियों का दबाव बढ़ने लगा। हालात काबू में करने के लिए वाराणसी आ रही ट्रेनों को आउटर के स्टेशनों शिवपुर, सारनाथ, बनारस, सिटी रेलवे स्टेशनों पर रोका गया।
कुंभ यात्रियों की सेवा करके भाजपा नेताओं ने किया भोजन वितरण
कुंभ यात्रियों के सेवा के के लिए शुक्रवार को खजुरी स्थित नायरा पेट्रोल पर के पास भाजपा नेताओं ने वृहद भंडारा के दौरान भाजपा नेताओं ने कुंभ यात्रियों के लिए बनाए जा रहे भोजन का निरीक्षण किया तथा भोजन बना रहे हलवाइयों को सही गुणवत्ता को परखा भोजन ग्रहण करने के उपरांत यात्रियों के चेहरे पर मुस्कान छा गई।कुंभ यात्रियों के परेशानी तथा सुविधाओं के बारे में जानकारी लिया। इस दौरान उन्होंने कहा कि कुंभ यात्रियों की सेवा करना भगवान की पूजा करने से बढ़कर है। इस दौरान मुख्य रूप से जिलाध्यक्ष/एमएलसी हंसराज विश्वकर्मा, एमएलसी धर्मेन्द्र राय, जिला महामंत्री प्रवीण सिंह गौतम, वरिष्ठ भाजपा नेता संजीव सिंह गौतम, जिलाउपाध्यक्ष अरविंदर प्रधान, वरिष्ठ भाजपा नेता राम शकल पटेल, संदीप सिंह 'मिंटू', भाजपा नेता उपेन्द्र प्रताप सिंह, प्रेम शंकर पाठक, संजय मिश्रा, मंडल अध्यक्ष सुजीत पाल, अजय सिंह, धीरज सिंह, निहाल सेठ समेत बहुत से पदाधिकारी व कार्यकर्ता गण उपस्थित रहे।