चीन में कोरोना ने मचाई तबाही, भारत सरकार अलर्ट
(रणभेरी): चीन के वुहान शहर से शुरू हुई कोरोना वायरस की महामारी ने नए साल से पहले एक बार फिर से कोहराम मचा रखा है। वहां हालात बेकाबू नजर आ रहे हैं। कोविड-19 संक्रमण की वजह बनने वाला कोरोना वायरस 2020 से अभी तक कई बार म्यूटेट हो चुका है। हर नए वेरिएंट ने पुराने वेरिएंट को पीछे छोड़ा और कम से कम साल भी लोगों को अपना शिकार बनाया। चीन में कोरोना के नए मामलों के पीछे ओमिक्रॉन BF.7 है, जिसका असल वैज्ञानिक नाम BA.5.2.1.7 है, और यह ओमिक्रॉन BA.5 का सब-वेरिएंट है।
अगले तीन माह में चीन के 80 करोड़ से ज्यादा लोगों के संक्रमित होने का खतरा मंडरा रहा है। दस लाख से ज्यादा लोगों की मौत की भी आशंका जताई गई है। एक रिपोर्ट के मुताबिक, दुनिया के बाकी देशों पर भी कोरोना का बुरा असर पड़ सकता है। दुनिया के 10 प्रतिशत से ज्यादा लोग अगले तीन महीने में संक्रमण की चपेट में आ सकते हैं। रिपोर्ट ने दुनियाभर में हलचल बढ़ा दी है। भारत में भी लोगों के बीच कई तरह की चर्चाएं शुरू हो गईं हैं।
भारत सरकार अलर्ट
दुनिया भर में कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए स्वास्थ्य सचिव राजीव भूषण ने मंगलवार को NCDC और ICMR को चिट्ठी लिखी है। सरकार ने कहा है कि कोविड के नए वैरिएंट की पहचान के लिए जीनोम सीक्वेंसिंग जरूरी है। स्वास्थ्य सचिव ने सभी राज्यों को भी निर्देश देते हुए कहा है कि सभी राज्य कोरोना सैंपल की जीनोम सीक्वेंसिंग पर ध्यान दें।
उत्तर प्रदेश में वर्तमान में 21 जिलों में कोविड के 95 मरीज हैं। इनमें वाराणसी में 33, रायबरेली में 12, मेरठ में सात, गाजियाबाद में पांच, कुशीनगर में पांच, अंबेडकरनगर में चार और अमरोहा, एटा व गोंडा में तीन-तीन और अन्य जिलों में इससे कम मरीज हैं। वर्तमान में प्रदेश में हर दिन दो से तीन मरीज ही मिल रहे हैं। इस पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी प्रदेश को अलर्ट कर दिया है। मरीजों की संख्या बढ़ाने पर जीनोम सीक्वेंसिंग कराने के निर्देश दिए गए हैं। यूपी में भी स्वास्थ्य कर्मियों को अलर्ट कर दिया गया है। सभी बीएसएल2 लैब से जांच संबंधी रिजेंट की उपलब्धता बनाए रखने के निर्देश दिए गए हैं। कहा गया है कि जिन जिलों में मरीजों की संख्या 10 से अधिक होने लगे, वे जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए सैंपल तैयार करें।