अरूण गोविल को सीधे उच्च सदन भेजने की मांग
वाराणसी (रणभेरी)। काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के छात्रों ने श्रीराम के जीवन चरित्र के पर आधारित धारावाहिक रामायण में प्रभु राम का किरदार निभाने वाले अरुण गोविल को लोकसभा चुनाव प्रत्याशी न बनाकर सीधे उच्च सदन में भेजनी की मांग की हैं। इसको लेकर छात्रों ने राष्ट्रपति को पत्र भी भेजा हैं। बीएचयू के शोध छात्र अभिषेक कुमार सिंह ने पत्र में लिखा है कि रामानंद सागर के निर्देशन में भगवान श्रीराम के जीवन चरित्र के पर आधारित धारावाहिक रामायण में प्रभु राम का किरदार निभाने वाले अरुण गोविल का राजनीति में आने के निर्णय का हम स्वागत करते हैं। भारतीय राजनीति में अच्छे लोगों की आवश्यकता है। लेकिन श्रीराम का अभिनय करने वाले अरुण गोविल की छवि मर्यादा पुरुषोत्तम वाली है। देश ने अरुण गोविल को राम के रूप में देखा है। देश की आस्था उनके साथ जुड़ी है। उन्होंने लिखा है कि अरुण गोविल की भगवान राम वाली छवि जन-जन के मन मस्तिष्क में व्याप्त है। वर्तमान में होने वाले लोकसभा 2024 के चुनाव में उत्तर प्रदेश के मेरठ लोकसभा क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी ने अपना प्रत्याशी बनाया है। ऐसा संभव नहीं होगा कि अन्य विपक्षी पार्टियों वहां अपना प्रत्याशी नहीं उतारेंगे। ऐसे में उनके समक्ष किसी व्यक्ति का चुनाव लड़ना देश की आस्था पर चोट पहुंचाने जैसा है। जो कि देश के लिए ठीक नहीं होगा। ऐसी स्थिति में अरुण गोविल को सीधे चुनाव में न उतार कर आप अपने विशेषाधिकार का प्रयोग करते हुए राज्यसभा भेजने की कृपा करें। संभव हो तो लोकसभा चुनाव में निर्विरोध चुने जाने के लिए सार्थक प्रयास किए जाएं। अभिषेक कुमार सिंह ने कहा कि हमने इसको लेकर राष्ट्रपति को पत्र भेजा है। उन्होंने कहा कि हमें पूर्ण विश्वास है कि राष्ट्रपति हमारे पत्र को ध्यान में रखते हुए उचित निर्णय लेंगे।