कानपुर अग्निकांड: बिठूर घाट पर हुआ मां-बेटी का अंतिम संस्कार, भाई बोला- डोली की जगह उठा रहे अर्थी
(रणभेरी): कानपुर देहात के मड़ौली गांव में अवैध कब्जा हटाने के दौरान जिंदा जली मां-बेटी का शव बुधवार सुबह 11:20 बजे मां प्रमिला दीक्षित और बेटी शिवा के शव बिठूर घाट पहुंचे। शव के पहुंचते ही गांव में चीत्कार मच गया। परिवार व ग्रामीणों ने नम आंखों के साथ मां- बेटी को अंतिम विदाई दी। अंतिम विदाई के दौरान पुलिस अधीक्षक बीबीजीटीए मूर्ति ने शव को कंधा देते हुए एंबुलेंस में रखवाया।जिस वाहन से शवों को लाया गया उसके आगे-पीछे पुलिस प्रशासन के उच्चाधिकारियों की गाड़ियां मौजूद रहीं।
घाट पर सुबह से ही बवाल की आशंका के चलते पीएसी और कई थानों का फोर्स पहले से ही तैनात कर दिया गया था। बिठूर में सुबह से ही सीमाओं पर बैरिकेडिंग कर दी गई। जल्द से जल्द अंतिम संस्कार कराया जा सके इसके लिए बिठूर घाट पर पहले से ही मां और बेटी की चिता को बना दिया गया था। अग्निकांड में घायल कृष्ण गोपाल दिक्षित और उनका बेटा शिवम दीक्षित बिठूर घाट पहुंचे। परिजनों को ढांढस बंधाने के लिए बिठूर विधायक अभिजीत सिंह सांगा मौके पर पहुंचे। अंतिम संस्कार के लिए पुलिसकर्मी खुद हाथ में फूल माला लेकर आए। गमगीन माहौल के बीच अंतिम संस्कार की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। कानपुर देहात में मैथा तहसील क्षेत्र के मड़ौली पंचायत के चालहा गांव में सोमवार को ग्राम समाज की जमीन से कब्जा हटाने पहुंची पुलिस और प्रशासनिक अफसरों की टीम के सामने कब्जेदार की झोपड़ी में संदिग्ध हालत में आग लग गई थी। घटना के वक्त मां-बेटी झोपड़ी के अंदर थीं। दोनों को बचाने के प्रयास में गृहस्वामी व रुरा थाना प्रभारी झुलस गए थे। घटना में मां-बेटी की जलकर मौत हो गई थी।
अतिक्रमण हटाने के दौरान हुए अग्निकांड में मारी गईं मां-बेटी के परिजनों ने गांव के ही गौरव दीक्षित से जान के खतरे की आशंका जताई है। मृतका के छोटे भाई अंशु दीक्षित ने कहा कि आरोपी गौरव के पास एक लाइसेंसी असलहा है। जिसे तत्काल निरस्त कराया जाना जरूरी है, इसके साथ ही अंशु ने कहा कि गौरव बड़े पैमाने पर सट्टे का कारोबार करता है। ऐसे में वह पैसे और रसूख के बल पर पूरे परिवार की हत्या करा सकता है। अंशु का कहना था कि इस बात की जानकारी स्थानीय पुलिस को पहले भी दी जा चुकी है, लेकिन कभी भी उसके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। उसने बताया कि जिस जमीन पर वह लोग काबिज थे उसे खाली कराने के लिए गौरव ने अपने सेना में होने का लाभ लिया था, क्योंकि स्थानीय लेखपाल भी सेना से रिटायर्ड है। ऐसे में सेना के लिंक के जरिए ही गौरव ने पूरी साजिश रची और लेखपाल के साथ मिलकर उन्हें बर्बाद कर दिया। बिठूर घाट पर मां-बेटी का अंतिम संस्कार कर दिया गया है। नम आंखों से बड़े बेटे शिवम ने दोनों की देह को मुखाग्नि दी। अंतिम संस्कार से पहले विधायक अभिजीत सिंह सांगा, मंडलायुक्त राज शेखर समेत प्रशासन व पुलिस अधिकारियों ने श्रद्धासुमन अर्पित किए।
सीएम ने दुख जताया
एक टीवी चैनल से बातचीत करते हुए सीएम योगी ने कानपुर देहात की घटना को दुःखद बताया। उन्होंने कहा कि पूरे मामले में एसआईटी टीम जांच कर रही है। मजिस्ट्रियल जांच के भी आदेश दिए गए हैं। जांच रिपोर्ट आने का इंतजार किया जा रहा है। जिसके बाद उचित कार्रवाई और निर्णय लिया जाएगा।